मध्य प्रदेश : मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सोमवार को कहा कि राज्य सरकार धार्मिक शहरों में शराब पर प्रतिबंध लगाने पर विचार कर रही है, ताकि इन स्थानों की पवित्रता और मर्यादा बनी रहे। हालांकि, इस पर कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है, लेकिन राज्य सरकार इस बारे में संतों द्वारा दिए गए सुझावों पर गंभीरता से विचार कर रही है। सीएम यादव ने कहा कि सरकार जल्द ही इस मुद्दे पर कोई फैसला करेगी। उन्होंने संतों के सुझावों का समर्थन करते हुए बताया कि सरकार धार्मिक शहरों की सीमाओं में शराब की दुकानों को बंद करने के बारे में गंभीरता से सोच रही है।सीएम मोहन यादव ने कहा कि वर्तमान वित्तीय वर्ष समाप्त होने वाला है और हमारी सरकार इस बात पर विचार कर रही है कि धार्मिक शहरों में अपनी नीति में संशोधन किया जाए और वहां शराब पर प्रतिबंध लगाने की दिशा में कदम उठाए जाएं। उन्होंने बताया कि कई संतों ने इस संबंध में सुझाव दिए हैं, और सरकार इन सुझावों पर गहन विचार कर रही है, ताकि धार्मिक माहौल से जुड़ी लोगों की चिंताओं का समाधान किया जा सके। सीएम यादव ने कहा, “हम इस मामले में गंभीर हैं और जल्द ही निर्णय लेंगे।”सितंबर 2024 में भी सीएम मोहन यादव ने धार्मिक शहरों में शराब की बिक्री पर रोक लगाने की बात कही थी। इस अवसर पर सीएम मोहन यादव ने केंद्रीय मंत्री सीआर पाटिल के साथ 614 करोड़ रुपये के सेवरखेड़ी-सिलारखेड़ी प्रोजेक्ट का भूमिपूजन किया। उन्होंने कहा कि इस परियोजना से हम सिंहस्थ 2028 के दौरान अपने संतों को क्षिप्रा नदी के पवित्र जल से स्नान कराने में सक्षम होंगे। उन्होंने बताया कि 2004 में, संतों को गंभीर नदी के पानी में स्नान कराया गया था, क्योंकि क्षिप्रा में पानी की कमी थी। 2016 में, संतों को नर्मदा नदी के जल से स्नान कराया गया था। अब हमें गर्व है कि हम संतों को साल भर क्षिप्रा नदी में स्नान करवा सकेंगे।