महापुरुष किसी एक धर्म, वर्ग अथवा कौम के नहीं होते : वरुण चौधरी

उन्होंने अपनी रचनाओं से समाज में व्याप्त बुराइयों एवं कुरीतियों को दूर करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया।

महापुरुष किसी एक धर्म, वर्ग अथवा कौम के नहीं होते : वरुण चौधरी

बराड़ा- संत शिरोमणि श्री गुरु रविदास जी महाराज के 646 वें प्रकाशोत्सव के अवसर पर विधायक वरुण चौधरी ने मुलाना विधानसभा क्षेत्र के विभिन्न गांवों में आयोजित कार्यक्रमों में पहुंच सभी को पवित्र जन्म जयंती पर शुभकामनाएं दी। विधायक वरुण चौधरी ने गुरु रविदास महाराज जी के जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि श्रद्धेय गुरु जी ने मानवता एवं विश्व बंधुत्व के साथ-साथ सामाजिक समरसता के संवर्धन के लिए कार्य किया एवं विश्व समुदाय को एकता, अखंडता तथा भाईचारे का संदेश दिया था।

उन्होंने अपनी रचनाओं से समाज में व्याप्त बुराइयों एवं कुरीतियों को दूर करने में महत्वपूर्ण योगदान दिया। उनकी उक्ति ‘मन चंगा तो कठौती में गंगा’ आज भी जन-जन के मुंह पर है, वास्तव में यह कहावत मानव मूल्य और नैतिकता के महत्व पर बल देता है। उन्होंने कहा कि संतों ने अपनी उच्च सोच से समाज उत्थान में बेहतर योगदान दिया है। ऐसे ही संत रविदास जी भी थे वे बहुत दयालु थे। दूसरों की मदद करना उन्‍हें भाता था। कहीं साधु-संत मिल जाएं तो वे उनकी सेवा करने से पीछे नहीं हटते थे। गुरु रविदास जी ने ऐसे समाज की कल्पना की थी जिसमें कोई ऊंच नीच न हो, सभी को इज्जत से जीने का अधिकार हो और सभी के लिए बुनियादी सुविधाओं की व्यवस्था हो। गुरु जी ने यह भी कहा था कि शिक्षा के बिना मनुष्य ज्ञान हीन होता है और ज्ञान प्राप्त करके ही अपना जीवन सुधारा जा सकता है।चौधरी ने कहा कि कोई भी गुरू किसी एक धर्म, वर्ग अथवा कौम के नहीं होते बल्कि पूरी मानवता के सांझे होते हैं और हम सभी को सभी धर्मों के गुरूओं का आदर करना चाहिए।