कोटेशन को सेंक्शन करने की एवज में मांग रहा था कमीशन

नियम-7 के तहत विभागीय कार्यवाही करने के भी दिए निर्देश

कोटेशन को सेंक्शन करने की एवज में मांग रहा था कमीशन

चंडीगढ़ : भ्रष्टाचार के खिलाफ मुख्यमंत्री मनोहर लाल सख्त रूख अख्तियार किए हुए हैं। भ्रष्टाचार निरोधी दिवस पर मुख्यमंत्री ने विभागों में कार्यरत भ्रष्ट अधिकारियों व कर्मियों की सूची लगाने के निर्देश दिए थे ताकि भ्रष्ट अधिकारियों के नाम उजागर हो सकें। इसी कड़ी में मुख्यमंत्री ने भ्रष्टाचार की शिकायतों पर संज्ञान लेते हुए जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग डिविजन नंबर-2 सोनीपत के कार्यकारी अभियंता को निलंबित करने के आदेश देते हुए उसके विरुद्ध नियम-7 के तहत विभागीय कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यालय से सीएम विंडो पर आने वाली शिकायतों की निगरानी कर रहे मुख्यमंत्री के ओएसडी भूपेश्वर दयाल ने जानकारी देते हुए बताया कि जिला सोनीपत के निवासी दीपक, जोकि एक ठेकेदार है, ने सीएम विंडो पर कार्यकारी अभियंता जितेंद्र सिंह हुड्डा के विरुद्ध कोटेशन को सेंक्शन करने के लिए उनसे 20 प्रतिशत एडवांस कमीशन की मांग करने की शिकायत दर्ज करवाई थी। कमीशन न देने पर कोटेशन में मनमाने तरीके से रेट काटने शुरू कर दिए। साथ ही, शिकायत में यह भी बताया था कि जितेंद्र सिंह हुड्डा कुछ चुनिंदा ठेकेदारों को बिना काम किए ही मोटी रकम का भुगतान करता है।
ओएसडी ने बताया कि उपरोक्त शिकायत पर कार्रवाई करते हुए मामले की जांच हेतु विभाग द्वारा एक कमेटी गठित की गई और कमेटी की जांच रिपोर्ट में कार्यकारी अभियंता जितेंद्र सिंह के विरुद्ध लगाए गए आरोप सही पाए गए। तदनुसार मुख्यमंत्री द्वारा जितेंद्र सिंह हुड्डा को निलंबित करने के साथ-साथ नियम-7 के तहत विभागीय कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए हैं।
भूपेश्वर दयाल ने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा की गई कार्यवाही से यह स्पष्ट संदेश दिया गया है कि प्रदेश में किसी भी स्तर पर भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। यदि इस प्रकार की कोई शिकायत आती है, तो भविष्य में भी ऐसे कड़े कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सरकार और आमजन के बीच सीएम विंडो एक सशक्त माध्यम बनकर उभरा है। पारदर्शी व्यवस्था व सुशासन स्थापित करने के लिए सीएम विंडो पर दर्ज होने वाली शिकायतों व समस्याओं का प्राथमिकता के आधार पर समाधान करना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है।