मुख्यमंत्री बोले : युवाओं का भाग्य अपने हाथों में, कंफर्ट जोन से बाहर निकल समाज निर्माण में देना होगा योगदान
सरकार की नीतियों और कार्यक्रमों की रखें जानकारी, उनका सदुपयोग कर परिवार समाज और राष्ट्र को आगे बढ़ाने में करें, जीवन में सकारात्मक सोच रखें, उमंग और मन में उत्साह होना चाहिए
चंडीगढ़ : मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने सीएम की विशेष चर्चा कार्यक्रम के दौरान युवाओं से सीधा संवाद करते हुए सोशल मीडिया पर नकारात्मकता फैलाने वाले लोगों से बचकर रहने का आह्वान किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि युवाओं को सोशल मीडिया का उपयोग सावधानी पूर्वक करना होगा, क्योंकि आज सोशल मीडिया बहुत उपयोगी बन चुका है, लेकिन इसका इस्तेमाल शरारती लोग अफ़रा तफ़री फैलाने में भी करने लगे हैं। हमें उनके बहकावे से बचना है। हमें रास्ते से नहीं भटकना है। उन्होंने कहा कि अपना भाग्य अपने हाथ में है। अपने कम्फर्ट जोन से बाहर निकलें। ख़तरा उठाने से न झिझके। जो अपना समय, साधन और प्रभाव आपके लिए खर्च करते हैं, उनके प्रति कृतज्ञता का भाव रखें। नए विचारों को अच्छा-खराब कहने के बजाय उसे कारगर करने की जुगत भिडाएँ। शोध में ये पाया गया है ऐसा करने से सफलता का मार्ग प्रशस्त होता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सोच सकारात्मक होनी चाहिए। दिल में उमंग और मन में उत्साह होना चाहिए। जिंदगी में कुछ कर गुजरने की ललक होनी चाहिए। हताश होंगे, नेगेटिव सोचेंगे तो कभी भला नहीं होगा। जीवन में सकारात्मक सोच के लिये ज़रूरी है कि हम नियमित योग-व्यायाम करें, आदतें ठीक रखें और नई-नई चीजें सीखते रहें। नई जगहों की यात्रा करें, नये लोगों से मिलें। नित नये अनुभव से हमारा स्वयं में विश्वास मज़बूत होगा, चुनौतियों का मुकाबला हम दृढ़ता से कर पायेंगे।
इस अवसर पर युवा सशक्तिकरण एवं उद्यमिता विभाग के प्रधान सचिव विजेन्द्र कुमार, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त प्रधान सचिव एवं सूचना, लोक सम्पर्क, भाषा एवं संस्कृति विभाग के महानिदेशक डॉ. अमित अग्रवाल और मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार बी.बी.भारती भी उपस्थित थे।
सरकार की नीतियों और कार्यक्रमों की रखें जानकारी
मनोहर लाल ने कहा कि आज के युवाओं में जागरूकता होनी चाहिए। आधुनिक डिजिटल इकॉनमी में तरक़्क़ी के अंतहीन अवसर हैं। सरकार की नीतियों एवं कार्यक्रमों की भी युवाओं को जानकारी होनी चाहिए और उनका सदुपयोग कर अपने आपको, परिवार को, समाज को और राष्ट्र को आगे बढ़ाना चाहिए। प्रजातंत्र में विरोधियों का काम विरोध करना है, लेकिन किसी की बात केवल सुनने की बजाय स्वयं आज़माकर देखें। उन्होंने कहा कि यदि कोई बात या कोई चीज ठीक नहीं है, तो सरकार को बतायें। हम मिल जुलकर प्रदेश को आगे लेकर जा सकते हैं, जहाँ रोज़गार के अवसर हों, सबके लिए आय के साधन हों।
दूसरों से अपनी तुलना से बचना चाहिए
मुख्यमंत्री ने कहा कि जीवन में सकारात्मक सोच होनी चाहिए। हम दिमाग़ को अच्छी आदतें सिखा कर खुश रह सकते हैं। हमें दूसरों से अपनी तुलना से बचना चाहिए। इसके लिए अपने वर्तमान को गौर से देखें कि हालात क्या सचमुच में इतने बुरे हैं, जितना कि आप समझ रहे हैं। फिर, अगर तुलना ही करनी है तो अपने उन गए दिनों से करें जब हालात और भी बुरे थे। जल्दी ऊबने की आदत से बचने के लिए चीज़ों के बजाय अनुभव पर समय और पैसा लगाएँ। चीजें पुरानी पड़ जाती हैं, अनुभव हमेशा नया रहता है। कोई चीज़ अच्छी लगे तो ठहर जाएँ, टिक कर अनुभव करें। भागा-भागी में न रहें। उन्होंने कहा कि मन में समाज को कुछ देने की सोच रखें। लोगों से मेलजोल, बातचीत रखें। एक शोध में पाया गया है कि सामाजिक सम्पर्क से रक्त धमनियों में ऑक्सीटोसिन रिलीज़ होता है जो सेरटोनिन की मात्रा को बढ़ाता है। इससे मन प्रफुल्लित रहता है। उन्होंने कहा कि भूटान ऐसा देश है, जिसने अपने नागरिकों की खुशी का पता लगाने के लिए हैप्पीनेस इंडेक्स बनाया है। हम सभी को मिलकर हरियाणा में भी हैप्पीनेस इंडेक्स को बढ़ाना है।
युवा समय और पैसे के बीच समय को दें महत्व
मुख्यमंत्री ने युवाओं का आह्वान करते हुए कहा कि समय और पैसे के बीच समय को महत्व दें। दिमाग़ को काबू में रखने के लिए योग-ध्यान करें। स्वयं को कार्य में व्यस्त रखें, ताकि दिमाग में बुरे विचार न आ पाएं। स्वयं पर विश्वास करें, सकारात्मकता बनाये रखें, उपलब्ध अवसरों का लाभ उठाकर कारगर और ज़िम्मेवार नागरिक बनें। उन्होंने कहा कि तरक़्क़ी के लिए दो तरह की करेन्सी इकट्ठी करें। पहला- परफ़ोर्मन्स करेन्सी। अपना काम लोगों की उम्मीद से थोड़ा बेहतर करें। इससे आपकी साख बड़ेगी। दूसरा- रिलेशनशिप करेन्सी, लोगों से अच्छे सरोकार रखें, टीम प्लेयर होकर ही आप जिंदगी में कुछ बड़ा कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि जीवन में खुश रहना सीखने की चीज़ है। खुश आदमी से तात्पर्य वैसे आदमी से है जिसे आनंद, उत्साह और गर्व की ज़्यादा और उदासी, चिंता और गुस्से की अनुभूति कम होती है।