राहुल ने किसानों को 3200 रूपए क्विंटल से भी अधिक पर धान खरीद का दिया भरोसा

किसानों से कहा कि वह लिखकर रख लें कांग्रेस की सत्ता फिर बनते ही 3200 रूपए क्विंटल में धान की खरीद शुरू होगी

राहुल ने किसानों को 3200 रूपए क्विंटल से भी अधिक पर धान खरीद का दिया भरोसा

अम्बिकापुर(छत्तीसगढ़) : वरिष्ठ कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मोदी एवं भाजपा पर वादा कर सत्ता में आने पर उसे भुला देने का आरोप लगाते हुए छत्तीसगढ़ के किसानो को भरोसा दिलाया हैं कि कांग्रेस फिर सत्ता में आने पर समर्थन मूल्य पर 3200 रूपए क्विंटल धान की खरीद शुरू कर इसे आगे बढ़ाती जायेंगी।

श्री गांधी ने आज यहां एक बड़ी चुनावी सभा में किसानों से कहा कि वह लिखकर रख लें कांग्रेस की सत्ता फिर बनते ही 3200 रूपए क्विंटल में धान की खरीद शुरू होगी और यह जितनी जरूरत होंगी धीरे धीरे बढ़ता जायेंगा।इसके लिए किसी को कुछ कहने की जरूरत नही होंगी।उन्होने कहा कि पिछली बार उन्होने 2500 रूपए क्विंटल में धान खरीद का वादा किया वह पूरा ही नही किया बल्कि उससे भी आगे जाकर बगैर किसी के कहे ज्यादा राशि पर धान की खऱीद की।पिछली बार किसानों की कर्जमाफी का वादा किया था और पहली ही कैबिनेट बैठक में उसे माफ किया।इस बार भी कर्जमाफी का वादा उसी प्रकार पूरा होगा।

उन्होने कांग्रेस के घोषणा पत्र का जिक्र करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य बीमा की राशि को पांच लाख से बढ़ाकर 10 लाख रूपए,भूमिहीन श्रमिकों को प्रति वर्ष सात हजार से बढ़ाकर न्याय योजना के तहत 10 हजार रूपए रूपए और गैस सिलेन्डर पर 500 रूपए की सब्सिडी दी जायेंगी.तेदूपत्ते का प्रति बोरी 6000 रूपए में खरीदी जायेंगी और चार हजार की बोनस राशि अलग दी जायेंगी।सभी विद्युत उपभोक्ताओं को 200 यूनिट बिजली फ्री दी जायेंगी।उन्होने कहा कि यह कांग्रेस की गारंटी है और यह मोदी के 15 लाख सभी के बैंक खाते में जाने,नोटबंदी से काला धन खत्म होने तथा किसान बिल से किसानों का भला होने जैसी जुमलेबाजी नही है।

श्री गांधी ने इसके साथ ही जाति जनगणना को लेकर मोदी सरकार को फिर घेरते हुए आज कहा कि सभी वर्गों की हर क्षेत्र में समुचित भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए जातियों की आबादी जानना जरूरी हैं।उन्होने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी 24 घंटे घंटे ओबीसी ओबीसी की बात करते रहते हैं लेकिन जाति जनगणना पर कुछ नही बोलते।भाजपा के लोग कहते है कि इसकी क्या जरूरत है।

श्री गांधी ने कहा कि ओबीसी की जितनी भागीदारी होनी चाहिए,नही हैं।प्रधानमंत्री मोदी सच्चाई जानते है,लेकिन उसे छिपाया जा रहा है।उन्होने सवाल किया कि कांग्रेस के समय में हुई जातीय जनगणना के आकड़े सरकार के पास जब उपलब्ध हैं तो उसे सार्वजनिक करने में क्या दिक्कत हैं।उन्होने कहा कि मोदी जी ओबीसी के लिए बल्कि अडानी के हितों के लिए काम करते है।ओबीसी युवाओं को मोदी से पूछना चाहिए कि उनकी आबादी के हिसाब से हिस्सेदारी क्यों नही हो।उन्होने कहा कि दिल्ली में उनकी सरकार जैसे आयेगी,देश में जाति जनगणना का काम शुरू हो जायेंगा।उन्होने कहा कि जाति जनगणना के बाद पिछड़ो,दलितों और आदिवासियों के प्रगति एवं सर्वागींण विकास का एक नया अध्याय शुरू होगा।

उन्होने मोदी एवं भाजपा को आदिवासियों को वनवासी कहे जाने पर फिर घेरते हुए जनसभा में आदिवासी और वनवासी शब्द के मायने बताए, उन्होंने बताया कि आदिवासी, हिंदुस्तान के पहले मालिक है। आदिवासियों के जल, जंगल और जमीन की रक्षा की जानी चाहिए और उनका हक मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि भाजपा और संघ के लोग वनवासी शब्द का उपयोग करते है जो कि आदिवासियों का अपमान है। वनवासी शब्द के जरिए आदिवासियों के संस्कृति और परंपरा पर आक्रमण किया जा रहा है। जनसभा को उप मुख्यमंत्री टी.एस.सिंहदेव ने भी सम्बोधित किया।