ट्रॉयथलन क्या है जानें इसका इतिहास, नियम और पूरी डिटेल्स

संयुक्त राज्य अमेरिका में सैन डिएगो ट्रैक क्लब द्वारा 1970 के दशक की शुरुआत में ट्रैक ट्रेनिंग के विकल्प के तौर पर ट्रायथलॉन का अविष्कार किया गया था।

ट्रॉयथलन क्या है जानें इसका इतिहास, नियम और पूरी डिटेल्स

ट्रायथलॉन : एक मल्टी स्पोर्ट इवेंट होता है। इसमें 3 डिसिप्लिन स्विमिंग, साइकिलिंग और रनिंग शामिल हैं। ट्रायथलॉन में, प्रतियोगी फिनिश लाइन तक पहुंचने के लिए रेस का  हिस्सा होते हैं और जो एथलीट इस प्रतिस्पर्धा में सबसे पहले फिनिश लाइन तक पहुंचता है उसे विजेता घोषित किया जाता है। 

ट्रायथलॉन का अविष्कार संयुक्त राज्य अमेरिका में सैन डिएगो ट्रैक क्लब द्वारा 1970 के दशक की शुरुआत में ट्रैक ट्रेनिंग के विकल्प के तौर पर किया गया था। क्लब के पहले आयोजन में 10 किमी की दौड़, 8 किमी की साइकिलिंग स्पर्धा और 500 मीटर की तैराकी स्पर्धा शामिल थी। आने वाले सालों में ट्रायथलॉन की लोकप्रियता बढ़ती रही और जल्दी ही इसने दुनिया भर में अपनी पहचान स्थापिक कर ली। 

ट्रायथलॉन के बुनियादी नियम सरल हैं। प्रतियोगी एक निर्धारित दूरी के अंतर्गत फिनिश लाइन तक पहुंचने के लिए स्विम करते हैं। साइकिल चलाते हैं और रनिंग में हिस्सा लेते हैं। ओलंपिक दूरी ट्रायथलॉन में तैराकी में 1.5 किमी, साइकिलिंग में 40 किमी और रनिंग में 10 किमी रेस शामिल होती है। जबकि स्प्रिंट दूरी के ट्रायथलॉन रेस के थोड़े छोटे होते हैं। वर्ल्ड ट्रायथलॉन स्प्रिंट चैंपियनशिप में, प्रतियोगियों को 750 मीटर की तैराकी, 20 किमी की साइकिलिंग और 5 किमी की रन पूरी करनी होती है। वहीं दूसरी तरफ, आयरनमैन ट्रायथलॉन में आमतौर पर 3.9 किमी की तैराकी, 180.2 किमी की बाइक राइड और 42.2 किमी की रनिंग शामिल होती है। 

ओलंपिक में, पुरुषों और महिलाओं की व्यक्तिगत ट्रायथलॉन प्रतियोगिताओं में 1.5 किमी की तैराकी, 40 किमी की बाइक राइड और 10 किमी की रनिंग शामिल होती है। इसके साथ ही मिक्स्ड रिले में प्रत्येक प्रतियोगी को रिले फॉर्मेट में 300 मीटर की तैराकी, 6.8 किमी की साइकिलिंग और 2 किमी की रन पूरी करनी होती है। 

सिडनी 2000 ओलंपिक खेलों में ट्रायथलॉन का डेब्यू हुआ था। तब से ग्रीष्मकालीन ओलंपिक प्रोग्राम का हिस्सा रहा है। टोक्यो 2020 में, ओलंपिक प्रोग्राम में एक मिक्स्ड रिले इवेंट को जोड़ा गया है। जहां चार एथलीटों की टीमों (दो महिलाओं और दो पुरुषों) ने गोल्ड मेडल जीतने के लिए प्रतिस्पर्धा की थी। 

टोक्यो ओलंपिक 2020 में व्यक्तिगत प्रतियोगतिा में बरमूडा के लिए पहला गोल्ड मेडल जीतने वाली फ्लोरा डफी है। जिन्होंने महिलाओं की श्रेणी में मौजूदा ओलंपिक और वर्ल्ड चैंपियन हैं। जबकि पुरुषों की ओर से, नार्वे के क्रिस्टियन ब्लुमेनफेल्ट ने टोक्यो 2020 में गोल्ड मेडल अपने नाम किया था।