सरकार की तानाशाही के खिलाफ लडऩा होगा : खरगे

खरगे का केंद्र सरकार पर अलोकतांत्रिक होने का आरोप

सरकार की तानाशाही के खिलाफ लडऩा होगा : खरगे

नई दिल्ली- कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने रविवार को भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर अलोकतांत्रिक होने का आरोप लगाया और कहा कि लोकतंत्र को बचाने के लिए लोगों को सरकार की तानाशाही के खिलाफ मजबूती से लडऩा होगा। वह कांग्रेस के तीन दिवसीय 85वें पूर्ण अधिवेशन के समापन पर जोरा गांव में आयोजित जनसभा को संबोधित कर रहे थे। इस रैली को छत्तीसगढ़ में इस वर्ष के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले सत्ताधारी कांग्रेस के शक्ति प्रदर्शन के रूप में देखा जा रहा है। रैली में हजारों की संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता और समर्थक एकत्र हुए थे।

खरगे ने कहा, ''केंद्र में मौजूदा सरकार लोकतांत्रिक नहीं है। यह सरकार जनता के लिए काम नहीं करती है। यह सरकार केवल अपनी तानाशाही चलाती है। उन्होंने दावा किया, ''हम वहां (संसद में) गरीबों, अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति और महिलाओं से संबंधित मुद्दों को उठाने के लिए स्वतंत्र नहीं हैं। मेरा भाषण और राहुल जी का भाषण हटा दिया गया। हमने किसी अपमानजनक शब्द का इस्तेमाल नहीं किया, हमने सिर्फ अडाणी के बारे में सवाल पूछा था। कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, ''2004 से पहले अडाणी की संपत्ति तीन हजार करोड़ रुपये थी जो 2014 में 50 हजार करोड़ रुपये हो गई। वर्ष 2021 से 2023 तक यह 13 गुना बढ़ी। आप बताएं कि यह कौन सा जादू है। अडाणी को आपने जो मंत्र दिया है, कृपया हमें भी बताएं। उन्होंने कहा, ''कैसे एक रुपये ढाई साल में 13 या एक लाख से 13 लाख रुपये हो जाते हैं। कांग्रेस अध्यक्ष ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा, ''उन्होंने एक व्यक्ति के लिए पूरे देश को गिरवी रख दिया। आपका दोस्त कौन है। आपका दोस्त जिसके विमान से आप प्रधानमंत्री बनने के बाद गुजरात से दिल्ली गए थे। उन्होंने कहा, ''आपने (मोदी) कहा था कि आप भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने भले ही छोटे भ्रष्टाचार को रोक दिया हो, लेकिन बड़े भ्रष्टाचार को होने दिया।

लोकतंत्र तथा संविधान बचाने को करना होगा संषर्घ

खरगे ने कहा कि हम ऐसे देश में रह रहे हैं जहां बोलने और लिखने की आजादी नहीं है। उन्होंने आरोप लगाया कि अगर कोई सच बोलता है तो उसे जेल भेज दिया जाता है। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह तानाशाही कर रहे हैं। खरगे ने कहा कि लोकतंत्र तथा संविधान को बचाने के लिए लोगों को इसके खिलाफ कड़ा संघर्ष करना होगा। उन्होंने कहा कि यदि लोकतंत्र और संविधान की रक्षा नहीं की गई तो इसका सबसे बुरा परिणाम अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति, अल्पसंख्यकों और महिलाओं को भुगतना पड़ेगा। खरगे ने कहा, ''मोदी जी पूछते हैं कि कांग्रेस ने 70 साल में क्या किया। उन्हें भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, छत्तीसगढ़ का भिलाई इस्पात कारखाना, भाखड़ा नंगल और हीराकुंड बांध दिखाया जाना चाहिए। आपने (भाजपा) कितने सार्वजनिक क्षेत्र स्थापित किए? मुझे एक उदाहरण दीजिए। मोदी सरकार ने इसके बजाय सार्वजनिक उपक्रमों को बेच दिया। उन्होंने कहा, ''राहुल जी ने चीनी घुसपैठ को लेकर आगाह किया था। लेकिन हमें विदेशी एजेंट कहा गया। सच तो यह है कि आजादी के लिए हमने कुर्बानी दी और जेल गए। आरएसएस (राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ)के कितने लोग जेल गए या उन्हें मृत्युदंड दिया गया। और वे हमें बताते हैं कि वे देशभक्त हैं। खरगे ने कहा, ''56 इंच के सीने का क्या करेंगे। लोगों को खाना और रोजगार दो। अगर यह (सीना) एक इंच भी कम हो जाए तो कोई दिक्कत नहीं होगी। दुबले होने के कारण कोई नहीं मरता है।

छत्तीसगढ़ मे सरकार की मनमानी

छत्तीसगढ़ में कांग्रेस नेताओं के परिसरों पर प्रवर्तन विभाग (ईडी) द्वारा हाल ही में की गई छापेमारी का जिक्र करते हुए खरगे ने कहा, ''जब रायपुर में पूर्ण अधिवेशन की तैयारी चल रही थी तब छापेमारी की जा रही थी। आप डराने की कोशिश कर रहे हैं। छत्तीसगढ़ की जनता नहीं डरेगी। उन्होंने कहा, '' (छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री)भूपेश बघेल जी ने कहा था कि वे ईडी (प्रवर्तन निदेशालय), आईटी (आयकर विभाग) के छापों के बीच पूर्ण अधिवेशन की मेजबानी के लिए तैयार हैं और उन्होंने आज इस आयोजन को सफल बनाकर इसे साबित भी कर दिया। इससे पहले रैली को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपनी सरकार की विभिन्न योजनाओं पर प्रकाश डाला और कहा कि उनकी सरकार समाज के हर वर्ग के हित में काम करती है तथा विकास के पथ पर सबको साथ लेकर चलने में विश्वास रखती है। रैली को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष मोहन मरकाम ने भी संबोधित किया। रैली में कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू और पार्टी के अन्य वरिष्ठ नेता भी उपस्थित थे।