बदलते भारत की तस्वीर है अयोध्या में श्री राम प्राण प्रतिष्ठा : मौलाना उमेर इलियासी

कहा कि "हम सब भारतीय हैं, भारत में रहते हैं तो हम सब को चाहिए कि हम भारत को मजबूत रखें

बदलते भारत की तस्वीर है अयोध्या में श्री राम प्राण प्रतिष्ठा : मौलाना उमेर इलियासी

कैथल : अयोध्या में श्रीराम प्राण प्रतिष्ठा नये भारत का चेहरा है। हमारा सबसे बड़ा धर्म मानवता है, हमारे लिए राष्ट्र सबसे पहले है, उपरोक्त विचार अयोध्या राम मंदिर 'प्राण प्रतिष्ठा' समारोह में शिरकत करने वाले अखिल भारतीय इमाम संगठन के मुख्य इमाम डॉ. उमेर अहमद इलियासी ने बातचीत में व्यक्त किए। अखिल भारतीय इमाम संगठन के प्रमुख डॉ. उमैर अहमद इलियासी, जोकि 22 जनवरी को अयोध्या में श्री राम जन्मभूमि मंदिर के उद्घाटन में शामिल होने वाले एकमात्र मुस्लिम धार्मिक नेता थे, उन्होंने कहा कि उन्हें यह देखकर खुशी हुई कि किसी भी जिम्मेदार मुस्लिम संगठन या नेता ने उनके कार्य के खिलाफ़ आवाज़ नहीं उठाई, और यह उनके प्रयासों के लिए उनके मौन समर्थन का संकेत देता है।

अयोध्या में श्री राम जन्मभूमि मंदिर के उद्घाटन में शामिल होने वाले एकमात्र मुस्लिम धार्मिक नेता डॉ. इलियासी ने कहा कि उनकी यात्रा ने समाज में कई मिथकों और गलतफहमियों को तोड़ा है और शांति का मार्ग प्रशस्त किया है तथा नफरत के युग का अंत किया है। उन्होंने कहा कि "हम सब भारतीय हैं। भारत में रहते हैं तो हम सब को चाहिए कि हम भारत को मजबूत रखें। हम सब भारतीय हैं। आज का जो हमारा पैगाम है वह नफरतों को खत्म करने के लिए है। बहुत साजिशें हुई, बहुत दुश्मनी हुई, बहुत राजनीति हुई, बहुत लोग मारे गए। अब हम सबको मिलकर एक होकर भारत को मजबूत करना है। उन्होंने सोशल मीडिया पर ट्रोल्स को "उन लोगों की राय" बताकर खारिज कर दिया, जिन्हें अपनी बात कहने का अधिकार है।

उन्होंने कहा कि जब उन्हें राम जन्मभूमि शिलान्यास ट्रस्ट से पत्र मिला, तो उन्होंने अपने मन में स्पष्ट कर दिया था कि यह उनके लिए राष्ट्रीय जिम्मेदारी है। उन्होंने राष्ट्रीय हित में राम मंदिर के अभिषेक समारोह में भाग लिया। वे चाहते थे कि यह अवसर नफरत के खात्मे का हो और अयोध्या से एक सकारात्मक संदेश निकले। डॉ. उमेर अहमद ने कहा कि उन्हें लगता है कि उनके प्रयास सफल रहे, वहां सभी का प्यार मिला, सभी ने उनके प्रति सम्मान दिखाया, उनकी उपस्थिति मुसलमानों की ओर से एक सकारात्मक संकेत और संदेश के रूप में काम आई। भव्य समारोह के अपने अनुभव सांझा करते हुए, इलियासी ने कहा कि उन्होंने एक नए भारत का उदय देखा।